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जज और वकील बनकर स्कूली बच्चों ने कक्षा को ऐसे बना दिया न्यायालय, रचा इतिहास, पढ़ें पूरी खबर

संविधान दिवस पर न्यू मॉडर्न इंग्लिश स्कूल के छात्रों ने अदालत की कार्यवाही पर आधारित नाटक से बांधा समा, बच्चों ने न्यायपालिका की भूमिका को जीवंत कर बढ़ाई संवैधानिक जागरूकता

Report by Nawada News Xpress / नवादा / सूरज कुमार

नवादा में मॉडर्न शैक्षिक समूह की शाखा न्यू मॉडर्न इंग्लिश स्कूल में 26 नवंबर 2025 को संविधान दिवस बड़े उत्साह और जागरूकता के साथ मनाया गया। इस अवसर पर विद्यालय के छात्रों ने भारतीय न्याय व्यवस्था पर आधारित एक प्रभावशाली नाटक का मंचन कर सभी का मन मोह लिया। नाटक में अदालत की वास्तविक कार्यवाही को जीवंत करते हुए न्यायिक प्रक्रिया को सरल और रोचक रूप में दर्शाया गया।

बच्चों ने न्यायपालिका के कामकाज को बिलकुल वास्तविक अंदाज में किया प्रस्तुत

न्यायाधीश, वकील और गवाह की भूमिकाओं को निभाते हुए छात्रों ने न्यायपालिका के कामकाज को बिल्कुल वास्तविक अंदाज में प्रस्तुत किया। स्नेहा रानी, सुहानी, उज्ज्वल, राधिका, नव्या, सिमरन, सुप्रिया, प्रियांशु, अमन सहित अन्य बच्चों ने अपने अभिनय से ऐसा दृश्य रचा कि दर्शकों को लगा जैसे वे किसी वास्तविक अदालत में मौजूद हो। कार्यक्रम की शुरुआत विद्यालय के निदेशक डॉ. अनुज कुमार, प्राचार्य गोपाल चरण दास, उप-प्राचार्य सुजय कुमार एवं सुशील कुमार द्वारा दीप प्रज्वलन से हुई।

बच्चों ने संविधान के पालन का दोहराया संकल्प

उद्घाटन भाषण में निदेशक डॉ. अनुज कुमार ने बताया कि 26 नवंबर 1949 को संविधान सभा ने भारत के संविधान को अंगीकृत किया था, जो 26 जनवरी 1950 को लागू हुआ। उन्होंने छात्रों को संविधान में वर्णित मौलिक अधिकारों और कर्तव्यों की भी याद दिलाई और इनके पालन का संकल्प दोहराया। नाट्य प्रस्तुति को देखकर सभी दर्शक अभिभूत हो गए और इसकी जमकर सराहना की। उन्होंने कहा कि इस प्रयास से बच्चों को न केवल भारतीय संविधान की गहराई को समझने का अवसर मिला, बल्कि न्यायपालिका की कार्यप्रणाली को भी करीब से जानने का मौका मिला, जो अत्यंत दुर्लभ अनुभव है।

प्रतिभागी सभी छात्र-छात्राओं को किया गया सम्मानित

कार्यक्रम के समापन पर विद्यालय प्रबंधन ने सभी प्रतिभागी छात्र-छात्राओं को सम्मानित किया। साथ ही सभी को संविधान में उल्लिखित अधिकारों एवं कर्तव्यों का पालन करने का संकल्प दिलाया गया। इस आयोजन की सफलता में सामाजिक विज्ञान के शिक्षक द्वारिका प्रसाद, शबाना प्रवीण, कुमारी स्वीटी, पवन कुमार सहित पूरे शिक्षकमंडल का महत्वपूर्ण योगदान रहा। संविधान जागरूकता पर आधारित यह कार्यक्रम छात्रों के लिए न केवल ज्ञानवर्धक साबित हुआ, बल्कि समाज के प्रति जिम्मेदारी का भाव भी जागृत करने वाला रहा।

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