नवादा के केशव कपूर मेमोरियल हॉस्पिटल में स्व कपूर देवी का मनाया गया 12वां पुण्यतिथि, अस्पताल का भी मना छठा वार्षिकोत्सव
Report by Nawada News Xpress
नवादा / सूरज कुमार
माता-पिता से बड़ा दुनिया में कोई नहीं होता है, ऐसे में कोई संतान अपने माता-पिता के सपनों को साकार करता है तो वह जीवन का सबसे बड़ा उपलब्धि बन जाता। ऐसा ही मिसाल नवादा जिला मुख्यालय स्थित तीन नंबर बस स्टैंड के समीप केशव कपूर मेमोरियल हॉस्पिटल है।

जिसका संचालक बसंत कुमार ने अपनी मां की याद में इस हॉस्पिटल का निर्माण कराया, जो उनकी मां स्व कपूर देवी इच्छा थी। अस्पताल में शुक्रवार को निदेशक बसंत कुमार की माता कपूर देवी की 12वीं पुण्यतिथि मनायी गई। इसके साथ ही अस्पताल का छठा वार्षिकोत्सव भी मनाया गया।

इस अवसर पर जिले भर के कई हस्तियों ने हिस्सा लिया। निदेशक बसंत कुमार ने बताया कि मां से बड़ा कुछ नहीं होता है, और हमारी मां की इच्छा थी कि हम जनमानस के लिए सेवा का मार्ग अपनाएं। ऐसे में अस्पताल ही एक ऐसा मार्ग मिला जिसके माध्यम से हमने आम जनमानस की सेवा करने का बेहतर विकल्प चुना।

उन्होंने कहा कि माता कपूर देवी के निधनोपरांत छह वर्षों के बाद अस्पताल खोला गया। इस अस्पताल का उद्घाटन भी हमारी माता कपूर देवी के पुण्यतिथि के दिन ही किया गया। उन्होंने कहा कि यहां सेवा भावना से मरीजों का इलाज किया जाता है।

यही वजह है कि हमारे यहां मरीजों को कम खर्च में बेहतर इलाज किया जाता है। कार्यक्रम की शुरूआत स्व कपूर देवी के तैल चित्र पर मार्ल्यापण व पुष्प अपर्ण कर किया गया। वहीं भोज का भी आयोजन किया गया। मौके पर डॉ प्रवीण कुमार, डॉ हितेन्द्र कुमार, डॉ पंकज कुमार, डॉ अभिजीत कुमार वर्मा, डॉ ओम प्रकाश, सदर अस्पताल के चिकित्सक डॉ विक्रम कुमार के अलावा

नवादा लोकसभा से राजद प्रत्याशी श्रवण कुशवाहा, ब्रजेन्द्र कुशवाहा, रामदेव यादव, सियाशरण यादव, भाजपा जिलाध्यक्ष अनिल मेहता, जिप सदस्य विनिता मेहता, अवकाश प्राप्त डीएसपी मुंद्रिका प्रसाद, अशोक सम्राट धर्मशाला राजगीर के अध्यक्ष राजकुमार प्रसाद, वारिसलीगंज के अरूंजय मेहता, झारखंड के सीआईडी सब इंस्पेक्टर गोपाल प्रसाद,

कुशवाहा सेवा समिति के सदस्य बीएओ अशोक मेहता, रोटेरियन राजेश्वर प्रसाद राजेश, भारत विकास परिषद के अध्यक्ष रामचन्द्र कुमार सोनी तथा भारत विकास परिषद के सचिव व रोटेरियन राजेन्द्र प्रसाद सहित सैंकड़ों की संख्या में लोग मौजूद थे।
