विलुप्त होते बरहैनिया पईन को फिर से अस्तित्व में लाने को लेकर मुख्यमंत्री के प्रगति यात्रा में विधान पार्षद ने सौंपा था ज्ञापन, सीएम ने सम्बंधित विभाग को दिया निर्देश
बरहगैनिया पईन की साफ-सफाई व अतिक्रमण मुक्त को तीन चरणों में किया जाना है पूरा, पईन के जमीन की मापी के लिए चार सदसीय कमेटी का हुआ गठन
Report by Nawada News Xpress
नवादा / सूरज कुमार

नवादा शहर के बीचो-बीच से गुजरने वाली बरहगैनिया पईन दशकों से तारणहार के इंतजार में अतिक्रमण का शिकार हो रहा था। इसके अस्तित्व को बचाने के लिए नवादा विधान पार्षद अशोक कुमार के पहल से जांच शुरू कर दी गई है।

ज्ञात हो कि एमएलसी श्री कुमार बिहार विधान परिषद् में आवाज उठाते हुए नवादा शहर के बीच से गुजरने वाली बरहगैनिया पईन पर अवैध अतिक्रमण से मुक्ति दिलाने की मांग उठाया था। इसके अलावा मुख्यमंत्री के प्रगति यात्रा के दौरान भी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को ज्ञापन सौंपा था।

इसके बाद मुख्यमंत्री ने इस मामले को गम्भीरता से लेते हुए सम्बंधित विभाग को जांच कर कार्रवाई करने का निर्देश दिया। तत्पश्चात कार्यपालक अभियंता लघु सिंचाई प्रमंडल नवादा के पत्रांक 399/नवादा 10 मार्च 2025 को अतिक्रमण मुक्त कराने से संबंधित पत्राचार एमएलसी से किया गया।

इसकी नापी को लेकर राजस्व कर्मचारी गोनावां, मिर्जापुर, सोनसिहारी, अरौना एवं अंचल अमीन रामचन्द्र रजक, सन्नी राज तथा प्रिया कुमारी के साथ राजस्व अधिकारी विनोद कुमार के नेतृत्व में जांच दल का गठन किया गया। जांच दल में सम्मिलित कर्मियों व पदाधिकारियों को निर्देश दिया गया कि वह बैरहगनिया पईन के नवादा शहर में प्रारंभ से अन्त तक स्थिति की जांच करते हुए स्थलवार व खेसरावार अतिक्रमित भूमि का नापी प्रतिवेदन समर्पित करेगें तथा

अतिक्रमित स्थलों पर लाल पेंट से क्रॉस का निशान इंगित करते हुए अतिक्रमण के लिए जिम्मेदार व्यक्तियों की सूची तैयार करेगें, ताकि अग्रेत्तर कार्यवाई की जा सके। बैरहगनिया पईन की लम्बाई तथा शहरी क्षेत्र में अंश भाग होने के कारण नापी की प्रक्रिया को कुल तीन चरणों में विभाजीत किया गया है, जिसमें प्रथम चरण 2 अप्रैल से 12 अप्रैल तक

शहरी क्षेत्र का अंश, दूसरा चरण 21 अप्रैल से 27 अप्रैल तक पईन के मध्य भाग पर अवस्थित भू-भाग तथा तीसरा चरण 4 मई से 17 मई तक पईन के अंतिम भाग पर अवस्थित भू-भाग की जांच कर नापी किया जाना है। इसके लिए नवादा सदर के राजस्व अधिकारी को निर्देश दिया गया है कि वह अपने नेतृत्व तथा संरक्षण में नापी कार्य कराना सम्पन्न कराते हुए

विधि-व्यवस्था की समस्या होने पर अद्योहस्ताक्षरी तथा संबंधित नजदीकी थाना को अविलंब सूचित करेंगे। गौरतलब हो कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इस मामले को गम्भीरता से लेते हुए लघु जल संसाधन विभाग बिहार, पटना के अधीक्षण अभियंता सह नोडल पदाधिकारी को अविलम्ब इसपर कार्रवाई का निर्देश दिया था।

बता दें कि बरहगैनिया पईन से 12 गांवों के खेतों का सिंचाई होता था, परंतु दशकों से इसपर अतिक्रमण कर लिये जाने के बाद इसका अस्तित्व खतरे में आ गया है, जिसका जिर्णोद्धार होने से शहरी व ग्रामीण क्षेत्र को काफी लाभ मिलेगा। एमएलसी के इस पहल से शहरवासियों में काफी खुशी देखी जा रही है। वहीं अतिक्रमणकारियों की नींद हराम हो रही है।
