विभाग ने अब तक अवैध बालू खनन से 6.02 करोड़ का लक्ष्य कर चुकी है पूरा
अवैध बालू खनन में जब्त वाहनों से सम्मन शुल्क व खनिज शुल्क के रूप में वसूला जाता है जुर्माना
विभाग के इस लक्ष्य से अवैध बालू खनन को मिल रही बढ़ावा
Report by Nawada News Xpress
नवादा / सूरज कुमार
नवादा जिले में अवैध बालू खनन का बदस्तूर जारी रहने के पीछे बड़ी कारण है, इसके लिए विभागीय स्तर से ही अवैध बालू खनन का लक्ष्य निर्धारित किया जाता है। ऐसे में अवैध बालू खनन को रोकना महज एक दिखावा साबित हो रही है। विभाग अपनी राजस्व के लिए एक तरफ बालू चोरी करने का रास्ता देती है तो वहीं दूसरी तरफ उसे पकड़कर जुर्माना वसूली करने का काम करती है।

इस दो नियती व्यवस्था से यह साफ हो रहा है कि बालू का अवैध खनन कभी समाप्त नहीं हो सकता है। विभाग को दोनों तरफ से राजस्व का मुनाफा हो रहा है, जिसमें संवेदक और अवैध बालू खनन दोनों से राजस्व की वसूली की जा रही है। पिछले कई महीनों से बंद बालू उठाव के दौरान जमकर अवैध बालू खनन का गोरखधंधा जारी है।

अब संवेदकों द्वारा बालू घाटों का टेंडर लेकर चलाया जाने लगा, तब भी अवैध बालू खनन बदस्तूर जारी है, जिससे यह साफ हो जाता है कि विभाग अवैध बालू खनन को एक तरफ जड़-मूल समाप्त करने का आदेश दिया जा रहा है, तो दूसरी तरफ वैसे अवैध बालू माफियाओं के लिए टारगेट दिया जाना समझ से परे है।

बताया जाता है कि अवैध बालू खनन कार्रवाई के लिए इस वित्तीय वर्ष 2023-24 में नवादा जिला खनन विभाग को 8 करोड़ 10 लाख का लक्ष्य निर्धारित है, जिसमें अक्टूबर माह तक विभाग ने कार्रवाई करते हुए 6 करोड़ 2 लाख रूपये की वसूली कर चुकी है, जो शत-प्रतिशत का 74.3 प्रतिशत है।

विभागीय सूत्रों ने बताया कि कार्रवाई के दौरान अवैध बालू खनन करने वाले वाहनों से दो तरह से जुर्माना वसूल किया जाता है, जिसमें सम्मन शुल्क और खनिज शुुल्क शामिल है। सम्मन शुल्क में ट्रैक्टर से 25 हजार, छह चक्का ट्रक से एक लाख, दस चक्का या उससे अधिक चक्के वाले वाहनों से 2 लाख रूपये तथा जेसीबी से 4 लाख रूपये जुर्माना वसूलने का प्रावधान है।

वहीं खनिज शुल्क की बात करें तो निर्धारित रॉयल्टी का प्रति सीएफटी 25 गुणा राशि बतौर जुर्माना वसूला जाता है। बता दें कि वर्तमान में प्रति सीएफटी 215 रूपये राशि नवादा जिले में निर्धारित है।

इस लिहाज से विभाग को डबल मुनाफा मिल रहा है। वहीं अवैध खनन कार्रवाई के नाम पर विभाग के कर्मी व अधिकारी भी खूब शुभ-लाभ करने में जुटे हैं। बताया जाता है कि अवैध बालू खनन कार्रवाई का लक्ष्य निर्धारित रहने से विभाग से जुड़े लोगों की अवैध कमाई भी खूब हो रही है।

दुर्भाग्य इस बात का है कि इस सम्बंध में जब प्रभारी खनन पदाधिकारी मुकेश कुमार के मोबाइल नंबर पर सम्पर्क किया गया तब उन्होंने कॉल रिसीव नहीं किया, जिससे यह पता चलता है कि मीडिया से उक्त खनन पदाधिकारी को परहेज है।

